चार फुलझड़ियाँ
रूप
सफ़ेद खादी में
लक्ष्मी का रंग काला
उनकी दीवाली में
देश का दीवाला
किस्मत
दीवाली में
फाकाकशी का
दौर चल रहा है
दिया किस्मत वाला है
जो घी से
जल रहा है
नेता
देश के लिए
भारी है
इच्छाधारी है
नसीब
डेयरी के मज़दूर का
कैस नसीब है
पाँचों उँगलियाँ
घी में
फिर भी गरीब है। |