रामगरीब विकल
जन्म- २ दिसम्बर, १९६० को मध्य
प्रदेश के सीधी जिला अन्तर्गत ग्राम- परसवार (चुरहट) में।
शिक्षा- जवाहर लाल नेहरू कृषि विश्व विद्यालय जबलपुर (म.प्र.)
से कृषि स्नातक। अवधेश प्रताप सिंह विश्वविद्यालय रीवा
(म.प्र.) से हिन्दी साहित्य में एम.ए. एवं पी-एच. डी.।
कार्यक्षेत्र-
गीत, ग़ज़ल, मुक्तक, विविध छन्द, मुक्त छन्द कविता लेखन के साथ -
साथ यदा-कदा व्यंग्य लेख, निबन्ध, कहानी की रचना। वर्तमान में
हिन्दी एवं बघेली बोली में ग़ज़लों एवं गीतों की रचना के साथ-साथ
अन्य विधाओं में लेखन जारी। लेखन एवं अध्ययन के साथ-साथ
जिज्ञासुओं को साहित्य-अध्ययन एवं सृजन के लिए प्रोत्साहन,,
मार्गदर्शन एवं प्रेरणा देते हुए हिन्दी भाषा की सेवा के लिए
समर्पित।
प्रकाशित कृतियाँ-
कविता संग्रह ‘बदलते मौसम के इन्तज़ार में’, ‘सूरज की मुक्ति के
लिए’
संस्कृत के कवि बाणभट्ट के व्यक्तित्व -कृतित्व पर केन्द्रित
पुस्तक ‘कौन तुम बाणभट्ट’ का सम्पादन।
इसके अतिरिक्त अनेक पत्र-पत्रिकाओं में रचनाएँ प्रकाशित।
सम्मान व पुरस्कार-
मध्य प्रदेश साहित्य अकादमी द्वारा, पहले कविता संग्रह ‘बदलते
मौसम के इन्तज़ार में’ को वर्ष २०१० का प्रादेशिक श्रीकृष्ण सरल
पुरस्कार। २०११ में ‘बाणवीर’ साहित्यिक संस्था रामपुर नैकिन,
जिला सीधी (म.प्र.) द्वारा ‘बाण सृजन सम्मान’। वर्ष २०१४ में
‘साहित्य संगम’ तिरोड़ी, जिला- बालाघाट (म.प्र.) द्वारा
‘साहित्य गौरव’ उपाधि से सम्मानित। वर्ष २०१६ में गहमर वेलफेयर
सोसाइटी गहमर जिला गाजीपुर (उ.प्र.) द्वारा अखिल भारतीय
साहित्यकार सम्मेलन में गीत विधा के लिए भोलानाथ गहमरी स्मृति
गीत गौरव सम्मान।
संप्रति-
भारत संचार निगम लिमिटेड शहडोल (म.प्र.) में लेखा अधिकारी के
पद पर कार्यरत रहते हुए साहित्य सेवा में संलग्न।
सम्पर्क-
vikal.sidhi@gmail.com |
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अनुभूति में
रामगरीब विकल की रचनाएँ-
गीतों में-
आँखों में रात कट गई
नवसृजन के गीत गाओ
मन जब रसखान हो गया
वेदना
शालिगराम
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