ग़म ने दिखाए
ऐसे रस्ते
ग़म ने दिखाए ऐसे रस्ते
खो गए हैं जीवन के रस्ते
प्यार मोहब्बत या कि वफ़ाएँ
टूट गया दिल इनके रस्ते
छोड़ गया वो बीच भँवर में
एक सितमगर तिरछे रस्ते
मेरे दिल का हाल न पूछो
कितना टूटा प्यार के रस्ते
माँ का आँचल उसकी दुआएँ
साथ चलेगी सारे रस्ते
मंदिर मस्जिद और कलीसा
दिखते हैं एक से रस्ते
24 दिसंबर 2007
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