अनुभूति में
कमल आशिक की रचनाएँ
अंजुमन में-
जान पर
तस्वीर निगाहों में
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जान पर
जान पर अपनी खेल जाऊँगा
ज़िंदगी तुझको आज़माऊँगा
ए ग़मे–इश्क मत सता मुझको
सांस लेना मैं भूल जाऊँगा
दर्दे–दिल फिर जुबां पे आया है
इक हसीं गीत गुनगुनाऊँगा
मैं तुझे भूलने की कोशिश में
एक दिन ख़ुद को भूल जाऊँगा
गर तुझे मुझ पे एतबार नहीं
जान देकर भी मैं दिखाऊँगा
तूने मुझसे नज़र चुराई तो
तेरे ख्वाबों में रोज़ आऊँगा
२४ जुलाई २००६ |